وَمَا كَانَ اللّٰهُ لِيُضِلَّ قَوْمًاۢ بَعْدَ اِذْ هَدٰىهُمْ حَتّٰى يُبَيِّنَ لَهُمْ مَّا يَتَّقُوْنَۗ اِنَّ اللّٰهَ بِكُلِّ شَيْءٍ عَلِيْمٌ ( التوبة: ١١٥ )
And not
وَمَا
और नहीं
is
كَانَ
है
(for) Allah
ٱللَّهُ
अल्लाह
that He lets go astray
لِيُضِلَّ
कि वो भटका दे
a people
قَوْمًۢا
किसी क़ौम को
after
بَعْدَ
बाद इसके
[when]
إِذْ
जब
He has guided them
هَدَىٰهُمْ
उसने हिदायत दी उन्हें
until
حَتَّىٰ
यहाँ तक कि
He makes clear
يُبَيِّنَ
वो वाज़ेह कर दे
to them
لَهُم
उनके लिए
what
مَّا
वो जिससे
they should fear
يَتَّقُونَۚ
वो बचें
Indeed
إِنَّ
बेशक
Allah
ٱللَّهَ
अल्लाह
(of) every
بِكُلِّ
हर
thing
شَىْءٍ
चीज़ का
(is) All-Knower
عَلِيمٌ
ख़ूब इल्म रखने वाला है
Wama kana Allahu liyudilla qawman ba'da ith hadahum hatta yubayyina lahum ma yattaqoona inna Allaha bikulli shayin 'aleemun (at-Tawbah 9:115)
Muhammad Faruq Khan Sultanpuri & Muhammad Ahmed:
अल्लाह ऐसा नहीं कि लोगों को पथभ्रष्ट ठहराए, जबकि वह उनको राह पर ला चुका हो, जब तक कि उन्हें साफ़-साफ़ वे बातें बता न दे, जिनसे उन्हें बचना है। निस्संदेह अल्लाह हर चीज़ को भली-भाँति जानता है
English Sahih:
And Allah would not let a people stray after He has guided them until He makes clear to them what they should avoid. Indeed, Allah is Knowing of all things. ([9] At-Tawbah : 115)